"व्यये कृते वर्द्धत एव नित्यं, विद्या धनं सर्व धनं प्रधानम्" शिक्षा का यह मौलिक एवं लोकोपयोगी रूप समाज के प्रत्येक वर्ग तक पहुंचे और छात्र जीवन के विभिन्न क्षेत्रों की प्रतिस्पर्धाओं हेतु तैयार होकर राष्ट्र की गौरवपूर्ण सेवा कर सकें,
विद्यालय इसी उद्देश्य का पोषक है । एतदर्थ शासन की मंशा के अनुसार एनसीईआरटी के पाठ्यक्रम पर आधारित यूपी बोर्ड का पाठ्यक्रम लागू है। समय की मांग के अनुसार अन्य विषयों के साथ-साथ अंग्रेजी, गणित, विज्ञान व हिन्दी विषय पर विशेष बल दिया जायेगा ।